देश

India-Mauritius relations: भारत-मॉरीशस के रिश्ते में नई ऊँचाई, पीएम मोदी और रामगुलाम की अहम वार्ता!

India-Mauritius relations: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मौरिशस के प्रधानमंत्री नविंचंद्र रामगुलाम ने बुधवार को द्विपक्षीय संबंधों के सभी पहलुओं पर अपनी व्यापक वार्ता के बाद संतोष व्यक्त किया और यह सहमति जताई कि दोनों देशों के बीच विशेष और घनिष्ठ द्विपक्षीय साझेदारी ने अब एक महत्वपूर्ण रणनीतिक गहराई प्राप्त कर ली है और यह अब एक उन्नत रणनीतिक साझेदारी बन चुकी है। प्रधानमंत्री मोदी की मौरिशस की दो दिवसीय यात्रा के अंतिम दिन ‘भारत-मौरिशस संयुक्त दृष्टिकोण के लिए उन्नत रणनीतिक साझेदारी’ (India-Mauritius Joint Vision for Advanced Strategic Partnership) जारी किया गया, जो दोनों देशों के बीच विशेष और अद्वितीय संबंधों को रेखांकित करता है।

इस यात्रा के दौरान, प्रधानमंत्री मोदी ने मौरिशस के नेतृत्व के साथ द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने के लिए विस्तृत बातचीत की, जो कि विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर केंद्रित थी, जिसमें बुनियादी ढांचा, आवास, डिजिटल प्रौद्योगिकी, स्वास्थ्य और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्र शामिल थे।

रक्षा और समुद्री सुरक्षा सहयोग पर जोर:

प्रधानमंत्री मोदी और मौरिशस के प्रधानमंत्री ने विशेष रूप से रक्षा और समुद्री सुरक्षा सहयोग पर जोर दिया। दोनों नेताओं ने इस बात पर बल दिया कि यह द्विपक्षीय संबंधों का एक महत्वपूर्ण स्तंभ है और इस क्षेत्र में घनिष्ठ सहयोग ने रणनीतिक आयाम प्राप्त कर लिया है, जो दोनों देशों के लिए अत्यधिक लाभकारी है। उन्होंने क्षेत्र में समुद्री चुनौतियों का सामना करने और व्यापक रणनीतिक हितों की रक्षा के लिए एक साथ काम करने के अपने संकल्प को भी दोहराया।

मौरिशस की EEZ की सुरक्षा में भारत की भूमिका:

मौरिशस के प्रधानमंत्री ने भारत की उस सहायता की सराहना की, जो उसने मौरिशस के विशेष आर्थिक क्षेत्र (EEZ) की सुरक्षा के लिए प्रदान की है। इसमें रक्षा और समुद्री उपकरणों की आपूर्ति, नियमित रूप से जहाजों और विमानों की तैनाती, संयुक्त समुद्री निगरानी, जल सर्वेक्षण और गश्त, द्विपक्षीय अभ्यास और सूचना साझा करना, और प्रशिक्षण में सहायता शामिल है। संयुक्त बयान के अनुसार, मौरिशस के प्रधानमंत्री ने भारत का आभार व्यक्त किया, जो कोस्ट गार्ड के जहाजों ‘विक्ट्री’, ‘वैलियंट’ और ‘बाराकुडा’ की मरम्मत के लिए ग्रांट के आधार पर सहायता प्रदान कर रहा है।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मौरिशस भारत के लिए एक विशेष समुद्री साझेदार है और भारत की SAGAR (Security and Growth for All in the Region) दृष्टि के तहत एक महत्वपूर्ण भागीदार है। क्षेत्र में साझा लक्ष्यों को ध्यान में रखते हुए, भारतीय प्रधानमंत्री ने मौरिशस को अपनी रक्षा और सुरक्षा आवश्यकताओं को पूरा करने में भारत की निरंतर सहायता की पुष्टि की।

समुद्री सहयोग को बढ़ावा देने की प्रतिबद्धता:

दोनों नेताओं ने समुद्री सहयोग को बढ़ाने के लिए अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त की, जिसमें संयुक्त समुद्री निगरानी और जल सर्वेक्षण के लिए जहाजों और विमानों की तैनाती को बढ़ाना शामिल था। इसके अलावा, वे EEZ की सुरक्षा में सहयोग बढ़ाने के लिए भी प्रतिबद्ध थे। इसमें अगालेगा में हाल ही में निर्मित रनवे और जेट्टी का बेहतर उपयोग और समुद्री डोमेन जागरूकता बढ़ाने के लिए राष्ट्रीय समुद्री सूचना साझा करने केंद्र की स्थापना शामिल है।

प्रधानमंत्री मोदी और मौरिशस के प्रधानमंत्री ने साथ ही इस बात की सराहना की कि मौरिशस और ब्रिटेन के बीच चागोस द्वीपों पर संवाद चल रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने इस मुद्दे पर मौरिशस के प्रति भारत के मजबूत समर्थन को फिर से दोहराया। मौरिशस के प्रधानमंत्री ने इस मुद्दे पर वैश्विक नेताओं के साथ व्यक्तिगत सहयोग और संवाद के लिए प्रधानमंत्री मोदी का धन्यवाद किया।

प्रधानमंत्री मोदी ने मौरिशस के प्रधानमंत्री को भारत दौरे का न्योता दिया:

प्रधानमंत्री मोदी ने मौरिशस के प्रधानमंत्री नविंचंद्र रामगुलाम को भारत आने का आमंत्रण भी दिया और कहा कि वे जल्द ही भारत का दौरा करें। यह भारत और मौरिशस के बीच लगातार बढ़ती साझेदारी और मित्रता का प्रतीक है, जो न केवल दोनों देशों के बीच मजबूत द्विपक्षीय संबंधों को दर्शाता है, बल्कि क्षेत्रीय और वैश्विक सुरक्षा के दृष्टिकोण से भी अत्यंत महत्वपूर्ण है।

भारत-मौरिशस रणनीतिक साझेदारी का महत्व:

भारत और मौरिशस के बीच रणनीतिक साझेदारी का एक महत्वपूर्ण हिस्सा दोनों देशों के आपसी संबंधों का विशिष्ट और गहरा संबंध है। मौरिशस के साथ भारत के संबंध न केवल ऐतिहासिक रूप से मजबूत हैं, बल्कि दोनों देशों की साझा सांस्कृतिक और भाषाई विरासत भी इसे और मजबूत करती है। मौरिशस में भारतीय प्रवासियों का एक बड़ा समुदाय है, जो दोनों देशों के बीच एक मजबूत बंधन का निर्माण करता है।

भारत के लिए मौरिशस की भौगोलिक स्थिति भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह देश भारत के समुद्री सुरक्षा लक्ष्यों के लिए एक अहम साझेदार है। मौरिशस के साथ भारत के रक्षा और समुद्री सहयोग में महत्वपूर्ण वृद्धि हुई है, जो न केवल क्षेत्रीय सुरक्षा को मजबूत करता है, बल्कि दोनों देशों के बीच सामूहिक हितों की रक्षा भी करता है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मौरिशस के प्रधानमंत्री नविंचंद्र रामगुलाम के बीच हुई यह बैठक भारत और मौरिशस के रिश्तों को एक नई दिशा देती है। दोनों देशों के बीच रणनीतिक साझेदारी के तहत सहयोग के कई पहलुओं पर बातचीत की गई, जो आने वाले वर्षों में और भी सशक्त होगी। यह यात्रा न केवल द्विपक्षीय संबंधों को मजबूती प्रदान करेगी, बल्कि क्षेत्रीय सुरक्षा, समुद्री सहयोग और साझा हितों के मामलों में भी महत्वपूर्ण प्रगति की ओर इशारा करती है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button